अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद् गिरिडीह के द्वारा गिरिडीह महाविद्यालय में संविधान दिवस पर संगोष्ठी का आयोजन किया गया एवं 26/11 हमले में शहीद जवानों को दो मिनट मौन धारण कर श्रद्धांजलि अर्पित किया गया। संघोष्ठी की शुरुवात मुख्य रूप से संविधान निर्माता बाबा साहब भीमराव अंबेडकर और युवाओं के प्रेरणाश्रोत स्वामी विवेकानंद के तस्वीरों में पुष्प अर्पित पर किया गया।
इस दौरान वक्ताओं ने कहा कि आज का दिन बहुत महत्वपूर्ण है।भारतीय संविधान 26 नवम्बर 1949 को अपनाया गया और 26 जनवरी 1950 को इसे लागू किया गया। भारत का संविधान भारत के लोकतांत्रिक, धर्मनिरपेक्ष और समतावादी ढांचे को परिभाषित करने वाला आधारभूत दस्तावेज है। पिछले सात दशकों में, इसने राजनीतिक, सामाजिक और आर्थिक परिवर्तनों के माध्यम से राष्ट्र का मार्गदर्शन किया है, न्याय, स्वतंत्रता, समानता और बंधुत्व सुनिश्चित किया है – जो भारत के शासन के मूल सिद्धांत हैं।
इन मूल्यों को हर साल संविधान दिवस के रूप में मनाया जाता है। साथियों, इस बार का संविधान दिवस कुछ खास है। साथ ही 26/11 की आतंकवादी हमला भारत कभी भूल नहीं सकता है सभी शहिद जवानों और नागरिकों को नमन। संगोष्ठी कार्यक्रम में मुख्य रूप से प्राचार्य डॉ अनुज कुमार, प्रो विनीता कुमारी, नगर अध्यक्ष राजकुमार वर्मा, प्रो धर्मेंद्र कुमार, जिला संयोजक उज्जवल तिवारी,प्रदेश जनजातीय सह प्रमुख मंटू मुर्मू, कॉलेज मंत्री नीरज चौधरी, विशाल कुमार, किशलय कुमार, सदानंद रॉय, उदय ,अर्चना पांडे, अविनाश कुमार, प्रियांशु कुमार, दीपक, श्याम, सुभाष ,विवेक,सहित सैकड़ों छात्र छात्रा मोजूद थे।