गिरिडीह के तीसरी प्रखंड स्तिथ भंडारी पंचयात भवन में सोमवार को श्री राजपुत करनी सेना का प्रखंड स्तरीय सम्मेलन का आयोजन किया गया। जिसमें सेकड़ों की संख्या में महिला पुरूष शामिल हुए।जिसमें तीसरी प्रखंड के सभी छत्रिय समाज के लोग श्री राष्ट्रीय करनी सेना में शामिल होते हुए करनी सेना की सदस्यता ग्रहण किये ।राष्ट्रीय राजपूत करणी सेना तीसरी शाखा का पहला सम्मेलन आज किया गया । जहां बड़ी संख्या में लोग जूटे. सम्मेलन में करणी सेना के जिला स्तर के पदाधिकारियों ने भाग लिया। मौके पर जिला पदाधिकारीयों को माला पहनाकर स्वागत किया गया.।
सम्मेलन को संबोधित करते हुए करणी सेना के जिला अध्यक्ष सत्येंद्र सिंह ने कहा कि . अब करणी सेना हर समाज के उत्थान के लिए कार्य करेगी ।एवम देश के इतिहास से छेड़छाड़ कर अब बर्दास्त नही की जाएगी।करनी सेना के मध्यम से पूरे भारत के छत्रिय समाज को एकजुट एवम एक मंच पर लाया जा रहा है। झारखंड प्रदेश के उपाध्यक्ष बिजय सिंह ने अपने संबोधन में करनी सेना के सभी सदस्यों बधाई देते हुए कहे कि महिला उत्थान की दिशा में करणी सेना महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे। करनी सेना का मुख्य उद्देश्य समाज में सरकारी योजनाओं का क्रियान्वयन के साथ साथ बच्चों की शिक्षा सुरक्षा पर भी करनी सेना कार्ये करेगी। प्रखंड संयोजक कोलेस्वर सिंह ने अपने संबोधन में करनी सेना के कार्ये एवम उद्देश्य को बताते हुए करनी सेना को धन्यवाद किए। की आज करनी सेना ने सभी छत्रिय को एक मंच पर लाने का कार्ये कर रहे हैं। अब निश्चित ही करनी सेना के सहयोग से समाज का विकाश होगा।एवम छत्रिय समाज जिसे अधिकारों से वंचित किया जा रहा है। उसे करनी सेना की अगवाई में अधिकार के लिए युद्ध स्तर पर कार्ये किया जाएगा।
करनी सेना के प्रखंड अध्यक्ष पिंकेश सिंह ने कहा कि करनी सेना किसी भी जाति धर्म पर आधारित समाज नही है। छत्रिय समाज का इतिहास रहा है।समाज के पर्त्येक वर्ग को सुरक्षा प्रदान करना।आज हमलोग सभी छत्रिय समाज एकजुट होकर समाज के सबसे निचले वर्ग के लोगों की सहायता एवम सुरक्षा प्रदान करने का कार्ये करेंगे। मोके पर जिला अध्यक्ष सत्येंद्र सिंह ,संयोजक नवनीत सिंह ,रामविजय सिंह पूर्व मुखिया महाराज सिंह, सुखदेव सिंह ,श्याम देव सिंह, अजय सिंह विपिन सिंह ,शिव कुमार सिंह , कोलेस्वर सिंह, पिंकेश सिंह ,जीतु सिंह,प्रवीण सिंह , गौतम सिंह ,संतोष सिंह ,राजु सिंह सहित सेकड़ो छत्रिय राजपुत उपस्थित थे।