गिरिडीह के पपरवाटांड़ स्थित समाहरणालय में मंगलवार को उपायुक्त ने कर्मियों के देर से आने पर मुख्य द्वार पर ताला लगवा दिया. समाहरणालय के दोनों मेन गेट पर ताला लगा रहने से यहाँ का नजारा अलग ही देखने को मिला. सभी विभाग के कर्मी मेन गेट पर खड़े नजर आए. इस दौरान लगभग दो घंटो तक लगभग सभी विभाग के कर्मी गेट के बाहर खड़े रहे और बारिश में भीगते रहें.
मिली जानकारी के अनुसार मंगलवार को उपायुक्त के निर्देश पर समाहरणालय के सभाकक्ष में एक महत्वपूर्ण बैठक रखी गई थी. बैठक के लिए उपायुक्त नमन प्रियेश लकड़ा ने सभी कर्मियों को 9 बजे कार्यालय पहुंचने का निर्देश दिया था.
लेकिन आदत से मजबूर कर्मियों ने उपायुक्त के निर्देश को अनदेखा करते हुए देर से कार्यालय पहुंचे. जबकि इसके पूर्व उपायुक्त कार्यालय पहुंच चुके थे. उपायुक्त के कार्यालय पहुंचने तक उनके चैम्बर में भी ताला लटका हुआ था और कई विभागों के कर्मी नदारद थे. इस दृश्य को देख कर उपायुक्त नाराज़ हुए और उन्होंने समाहरणालय के मुख्य द्वार पर ही ताला बंद करवा दिया.
मुख्य द्वार पर ताला बंद होने के बाद जब कर्मी कार्यालय पहुंचे तो उन्हें बाहर ही खड़ा रहना पड़ा. समाहरणालय के दोनों मुख्य द्वार ताला लगा रहने के कारण कर्मी लगभग दो घंटे तक अंदर नहीं जा सके. उपायुक्त के इस सख्त रवैये की चर्चा इलाके में फैलने के बाद लोग इसकी प्रशंसा कर रहे हैं. आम लोगों ने देर से कार्यालय नहीं पहुंचने वाले कर्मियों के खिलाफ उपायुक्त द्वारा की गई कार्रवाई की सराहना की है.