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किसान उत्पादक कंपनी और सीधी बिक्री प्रणाली के माध्यम से किसानों को फायदे की दी गई जानकारी

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नाबार्ड गिरिडीह के सहयोग से एनजीओ रुद्रा फाउंडेशन, प्रिंस आर्ट ओर रूरल डेवलपमेंट सोसायटी द्वारा दो अलग-अलग बैच में होटल मीर रेसीडेंसी में कृषक उत्पादक संगठन के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी का तीन दिवसीय आवासीय क्षमतावर्धन प्रशिक्षण की शुरुवात रविवार से किया गया। प्रशिक्षण का उद्घाटन नाबार्ड गिरिडीह के ज़िला विकास प्रबन्धक आशुतोष प्रकाश, रुद्रा फाउंडेशन के सचिव सैयद सबीह अशरफ़, प्रिंस आर्ट के सचिव सुधीर कुमार, प्रशिक्षक एवं प्रतिभागियों ने क्रमशः दीप प्रज्वलित कर किया।

मौके पर बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स को संबोधित करते हुए DDM आशुतोष प्रकाश ने कहा कि कोई भी काम करना इतना आसान नही होता है लेकिन मन में इच्छा हो तो कोई भी काम मुश्किल भी नहीं होता है। उन्होंने कहा कि मेरा सपना है कि गिरिडिह के किसान राष्ट्रीय स्तर पर प्रगति करें । रुद्रा फाउंडेशन के सचिव ने बताया कि किसान उत्पादक संगठन के माध्यम से जहां किसान को अपनी पैदावार के सही दाम मिलते हैं, वहीं खरीदार को भी उचित कीमत पर वस्तु मिलती है। वहीं अगर अकेला उत्पादक अपनी पैदावार बेचने जाता है तो उसका मुनाफा बिचौलियों को मिलता है। श्री अशरफ के मुताबिक किसान एफपीओ व कस्टम हायर सेंटर के माध्यम से अलग-अलग कृषि उत्पाद पैदा करने वाले एक मंच पर साथ आ ज्यादा मुनाफा कमा सकते हैं।

एफपीओ सिस्टम में किसान को उसके उत्पाद के भाव अच्छे मिलते हैं। उन्होंने बताया कि अब जैविक उत्पादों की काफी मांग है और एफपीओ के माध्यम से जैविक खेती को बढ़ावा मिल रहा है। मगर एफपीओ के लिए किसानों को प्रशिक्षित करना जरूरी है। इसके लिए उनका विकास करना होगा। इसके अलावा किसानों को 24 घंटे जागरूक रहना पड़ेगा। बैठक को संबोधित करते हुए प्रशिक्षक अमितचन्द्र झा एवं मनीष कुमार पाठक ने बताया कि आप व्यपार कैसे करें इसके लिए आप क्या- क्या योजना बनाएंगे इस विषय पर विस्तृत जानकारी बताया।
इस कार्यक्रम में इको फ्रेश, उत्कर्ष, फ्रेश बास्केट, नया सवेरा, आरोही किसान उत्पादक कंपनी लिमिटेड के 5- 5 निदेशक व एक एक CEO उपस्थित थे। मौके पर संस्था के कार्यक्रम प्रबन्धक शंकर कुमार राय, चंदन कुमार राय आदि उपस्थित थे।

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